लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर जमकर निशाना साधा है। बुधवार को लखनऊ में पदाधिकारियों के साथ बैठक के दौरान उन्होंने कहा कि हार के बाद मुख्यमंत्री न तो खुद चैन से सो पा रहे हैं और न ही अधिकारियों को सोने दे रहे हैं। अखिलेश यादव ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर तंज कसते हुए कहा, हमारे सीएम कहने को योगी हैं, लेकिन कभी-कभी बायोलॉजिस्ट भी बन जाते हैं। उन्हें डीएनए की चिंता है, लेकिन वह डीएनए का फुल फॉर्म नहीं बता सकते। उन्होंने मुख्यमंत्री से सवाल किया कि क्या उनके आवास का नक्शा पास है और कहा कि बुलडोजर दिमाग से नहीं, स्टीयरिंग से चलता है।
योगी आदित्यनाथ का पलटवार
बुधवार को छात्रों को नियुक्ति पत्र देने के कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अखिलेश यादव के बयान पर पलटवार किया। उन्होंने कहा, बुलडोजर पर हर आदमी का हाथ फिट नहीं हो सकता। इसके लिए दिल और दिमाग दोनों चाहिए। जिसमें बुलडोजर जैसी क्षमता और दृढ़ता हो, वही इसे चला सकता है।
शिक्षकों का सम्मान और सरकार पर आरोप
शिक्षक दिवस के एक दिन पहले, बुधवार को अखिलेश यादव ने पार्टी कार्यालय में शिक्षकों को सम्मानित किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि आज किसान, नौजवान और शिक्षक सबसे अधिक दुखी हैं। यूपी में हर भर्ती पर सवाल उठ रहे हैं और पुरानी घटनाओं का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि 2017 से पहले लूट थी, लेकिन आज जो अधिकारी लूट करवा रहे हैं, वे मुख्यमंत्री के इर्द-गिर्द हैं।
उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य में कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है। उपचुनाव में सपा की सभी 10 सीटों पर जीत की उम्मीद जताते हुए अखिलेश ने बाराबंकी पुलिस द्वारा एक लाख रुपए में समझौता कराने और अपराधियों का स्वागत करने के आरोप लगाए। उन्होंने कहा, मुख्यमंत्री को सदमा लगा है। वे दिल्ली क्यों नहीं चले जाते? आरक्षण तभी बचेगा, जब भाजपा सत्ता से हटेगी।
2027 के चुनावों पर नजर
अखिलेश यादव ने अपने भाषण में 2027 के चुनावों का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश की जनता सपा के समय हुए विकास कार्यों को याद कर रही है और भाजपा सरकार के तहत प्रदेश हर स्तर पर पिछड़ रहा है। उन्होंने भाजपा को विकास विरोधी बताते हुए कहा कि पिछले 7 साल में भाजपा ने विकास के नाम पर कोई काम नहीं किया और उनके पास कोई विजन नहीं है। अखिलेश ने सामाजिक न्याय के लिए जातीय जनगणना की जरूरत पर भी जोर दिया और कहा कि सपा इन्हीं मुद्दों को लेकर जनता के बीच जाएगी। सपा प्रमुख ने दावा किया कि भाजपा की राजनीति को निष्प्रभावी बनाने के लिए PDA (पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक) एक सशक्त भरोसा साबित हो रहा है। उन्होंने जनता से संविधान और आरक्षण के मुद्दों को धार देने का आह्वान किया, ताकि 2027 में सपा सरकार की वापसी सुनिश्चित हो सके।
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