Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को 135 किसानों को गन्ना रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया। लखनऊ स्थित लोकभवन में आयोजित इस कार्यक्रम में सीएम योगी ने प्राकृतिक खेती पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि प्राकृतिक खेती से धरती माता की सेहत और गन्ना किसानों को हित दोनों सुरक्षित रहेगा। किसानों को प्राकृतिक खेती को धीरे-धीरे आगे बढ़ाना होगा। पूरे देश में यूपी ही एक मात्र ऐसा राज्य है, जहां कोरोना में लॉकडाउन के दौरान चीनी मिलें चलती रहीं।
पहले की सरकारें किसानों पर चलवाती थी गोलियां
सीएम योगी ने विपक्ष पर हमला बोलते हुए कहा कि पहले की सरकारें गन्ना किसानों पर गोलियां चलवाती थी, आज हमारी सरकार नई चीनी मिलों की स्थापना कर रही है, जो पूरी क्षमता से काम कर रही हैं। भारतीय जनता पार्टी को सरकार किसानों के हित में लगातार काम कर रही है।वहीं पीएम मोदी की तारीफ करते हुए कहा आज उनकी सहमति से प्रदेश में चीनी मिलें चीनी के साथ इथेनॉल भी बनाने का काम कर रहीं हैं। उसी का परिणाम है कि पूरे देश में यूपी गन्ना उत्पादन में नंबर वन, चीनी उत्पादन, होने के साथ ही इथेनॉल, खांडसारी यूनिट्स में भी नंबर एक पर काबिज है।
पहले किसानों का नहीं होता था भुगतान
सीएम योगी ने अपने संबोधन में कहा कि यूपी में छह साल पहले गन्ना किसानों को पर्ची के लिए परेशान होना पड़ता था। उनकी पर्ची की चोरी के साथ गन्ने की तौलाई में घटतौली होती थी। ऐसे में वह आंदोलन करने को मजबूर होते थे। साथ ही चीनी मिल के असमय बंद होने से किसानों को परेशान होना पड़ता था। कई सालों तक किसानों का बकाया गन्ने का भुगतान नहीं होता था। लेकिन 2017 में प्रदेश में बीजेपी की सरकार बनने के बाद से सरकार ने किसानों की समस्याओं की ओर ध्यान देना शुरू किया। यही नहीं 2010 से लेकर 2017 के बीच बकाया गन्ना का भुगतान करने के लिए मिशन मोड पर काम शुरू किया गया। इस पर चीनी मिल मालिकों से बात की गई।
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